चीनी सेना और फिलीपींस के नौसैनिकों के बीच झड़प
एपी। फिलीपींस के राष्ट्रपति ने रविवार को कहा कि उनका देश किसी भी विदेशी शक्ति के आगे नहीं झुकेगा और न ही कभी युद्ध भड़काएगा। उनका यह बयान दक्षिण चीन सागर में चीनी सेना और फिलीपींस के नौसैनिकों के बीच झड़प के बाद सामने आई हैं। इस दौरान दो सैन्य वोट को छुरा, कुल्हाड़ियों और हथौड़ों से क्षतिग्रस्त कर दिया। राष्ट्रपति फर्डिनेंड मार्कोस जूनियर अपने शीर्ष जनरलों और रक्षा प्रमुख के साथ पश्चिमी द्वीप प्रांत पलावन उन नौसेना कर्मियों से मिलने और उन्हें पदक प्रदान करने के लिए पहुंचे। यह घटना तब हुई जब फिलीपींस की नौसेना सेकेंड थामस शोल पर जरूरी सामानों की आपूर्ति कर रहा था। सार्वजनिक किए गए वीडियो और तस्वीरों में चीनी तटरक्षक फिलीपींस की नौसेना के वोट पर लकड़ी के पट्टे से हमला बोलते और सायरन बजाते दिख रहे हैं। साथ ही इसमें वे एक बैग जब्त करते दिख रहे हैं।
फिलीपींस की नौसेना ने दी चेतावनी
चीनी सरकार ने कहा कि उसके तटरक्षक को कार्रवाई करनी पड़ी, क्योंकि फिलीपींस की नौसेना ने चेतावनी की परवाह नहीं की। चीन इस क्षेत्र को अपना अपतटीय क्षेत्र कहता है, हालांकि फिलीपींस और अन्य की ओर से इस दावे को लंबे समय से खारिज किया जाता रहा है। इसकी अमेरिका, यूरोपीय संघ, जापान, आस्ट्रेलिया और अन्य पश्चिमी और एशियाई देशों ने निंदा की है। वहीं, चीन और फिलीपींस ने इसके लिए एक-दूसरे को दोषी ठहराया है।
हम युद्ध भड़काने के पक्ष में नहीं
मार्कोस के प्रमुख सलाहकारों ने शुक्रवार को कहा कि उनके प्रशासन की अमेरिका के साथ देश की पारस्परिक रक्षा संधि को लागू करने की कोई योजना नहीं है। हम युद्ध भड़काने के पक्ष में नहीं हैं।