चार धाम यात्रा के लिए 28 अप्रैल से खुलेंगे ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन काउंटर, पूरी जानकारी यहां देखें

चार धाम यात्रा 2025: 28 अप्रैल से शुरू होंगे ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन, ऑनलाइन अब तक 18 लाख श्रद्धालु करा चुके हैं नाम दर्ज चार धाम यात्रा 2025 के लिए अब तैयारियां तेज़ हो गई हैं। इस बार जो श्रद्धालु ऑफलाइन तरीके से रजिस्ट्रेशन कराना चाहते हैं, उनके लिए 28 अप्रैल से पंजीकरण शुरू होने जा रहे हैं। इसके लिए हरिद्वार, ऋषिकेश, विकासनगर और हरबर्टपुर में कुल 65 पंजीकरण काउंटर लगाए जाएंगे। ऋषिकेश में सबसे ज़्यादा 30 काउंटर, हरिद्वार में 20 और हरबर्टपुर में 15 रजिस्ट्रेशन सेंटर रहेंगे। अगर कोई श्रद्धालु किसी ग्रुप में यात्रा कर रहा है, तो उनके रुकने की जगह पर ही रजिस्ट्रेशन की सुविधा मिल जाएगी। वहीं ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन पहले से यानी 20 मार्च से चालू है और अब तक करीब 18 लाख लोग अपना नाम दर्ज करा चुके हैं। इस बार सरकार की योजना है कि कुल रजिस्ट्रेशन में से 60% ऑनलाइन और 40% ऑफलाइन तरीके से किए जाएंगे। चार धाम यात्रा की शुरुआत 30 अप्रैल से होगी। सबसे पहले गंगोत्री और यमुनोत्री धाम के कपाट इसी दिन खोले जाएंगे। इसके बाद केदारनाथ धाम के कपाट 2 मई और बद्रीनाथ धाम के 4 मई को खोले जाएंगे।
पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने कहा है कि सरकार इस बार यात्रा को सुचारू रूप से चलाने के लिए पूरी तरह तैयार है। उन्होंने बताया कि जिन-जिन ज़िलों से होकर ये यात्रा निकलेगी, वहां की ज़रूरतों के लिए सरकार ने 12 करोड़ 75 लाख रुपये का बजट जारी किया है। उन्होंने यह भी अपील की कि श्रद्धालु यात्रा पर निकलने से पहले अपनी सेहत की जांच ज़रूर करा लें और यात्रा के नियमों का पूरी तरह पालन करें। उधर, श्रद्धालुओं के एक और पवित्र स्थल श्री हेमकुंड साहिब के कपाट भी इस बार 25 मई को खोले जाएंगे। इसे लेकर भी तैयारियां शुरू हो गई हैं और जल्द ही रास्ते में जमी बर्फ को हटाने का काम शुरू कर दिया जाएगा। गुरुद्वारा श्री गोविंदघाट के सीनियर मैनेजर सरदार सेवा सिंह ने बताया कि सेना के जवानों के साथ गुरुद्वारे के सेवादार भी हेमकुंड साहिब तक के रास्ते का जायज़ा लेने गए थे और अब वापस लौट आए हैं। हेमकुंड साहिब की यात्रा को लेकर गुरुद्वारा प्रबंधन की एक स्पेशल रेकी टीम ने सेना के साथ मिलकर गोविंदधाम घांघरिया से लेकर हेमकुंड साहिब तक के मार्ग की जांच की है। घांघरिया से हेमकुंड साहिब तक जो बर्फ जमा है, उसे हटाकर श्रद्धालुओं के लिए सुरक्षित पैदल रास्ता तैयार किया जाएगा। इसके लिए भारतीय सेना की एक विशेष टीम गोविंदघाट पहुंच रही है। फिलहाल गुरु धाम के आस-पास 5 फीट से भी ज़्यादा बर्फ जमी हुई है। हेमकुंड साहिब परिसर से लेकर अमृत कुंड तक का पूरा इलाका बर्फ से ढका हुआ है और चारों ओर सफेद चादर जैसी बर्फ फैली नजर आ रही है.