शेफाली जरीवाला की मौत के बाद पति पराग ने डॉग को टहलाया, जानिए इसके पीछे का भावनात्मक सच

शेफाली जरीवाला का जाना: एक परिवार का दुख और एक कुत्ते का प्यार-यह खबर सुनकर सबके मन में एक सन्नाटा छा गया, 42 साल की उम्र में शेफाली जरीवाला का अचानक निधन। सिर्फ इंडस्ट्री ही नहीं, उनके चाहने वालों के दिल भी टूट गए। ‘कांटा लगा गर्ल’ हमेशा के लिए चली गईं।
पराग और सिम्बा: अकेलापन और जिम्मेदारी-शेफाली के जाने के बाद उनके पति पराग त्यागी और उनका प्यारा कुत्ता सिम्बा अकेले रह गए हैं। सिम्बा सिर्फ एक पालतू नहीं, बल्कि शेफाली का बच्चा था। पराग का सिम्बा को घुमाने ले जाना, सोशल मीडिया पर आलोचना का कारण बना, लेकिन क्या हमने उस दर्द को समझा जो एक पति और एक कुत्ते को झेलना पड़ रहा है?
पारस छाबड़ा का समर्थन: एक गहरी समझ-‘बिग बॉस 13’ के पारस छाबड़ा ने पराग का बचाव करते हुए कहा कि सिम्बा उनके छोटे से परिवार का हिस्सा था। एक सदस्य के जाने से बचे हुए सदस्यों पर कितना बोझ आता है, ये सिर्फ एक पति ही समझ सकता है। सिम्बा बूढ़ा हो गया है, उसकी आँखें कमजोर हैं, घुमाने जाना उसकी देखभाल का हिस्सा है, दिखावा नहीं।
सिम्बा का दुख: एक बेजुबान का दर्द-कुत्ते भी इंसानों की तरह भावनात्मक होते हैं। पारस ने बताया कि सिम्बा उदास है, उसे एहसास है कि कुछ गलत हुआ है। शेफाली से उसका गहरा नाता था, उसके जाने से वो भी टूट गया है। एक बेजुबान का दर्द भी कम नहीं होता।
आलोचना से पहले, समझ की जरूरत-पराग की आलोचना करने से पहले, हमें उनके दर्द को समझना होगा। जब कोई चला जाता है, तो बचे हुए लोगों को एक-दूसरे का सहारा बनना पड़ता है। दुख साझा करना जरूरी है, चाहे वो इंसान हो या जानवर।
परिवार का हिस्सा: इंसान और जानवर-शेफाली और पराग ने सिम्बा को हमेशा अपने बच्चे की तरह पाला। ये घटना हमें याद दिलाती है कि पालतू जानवर सिर्फ जानवर नहीं, परिवार का हिस्सा होते हैं। पराग सिर्फ एक जिम्मेदारी निभा रहे हैं, एक पति और एक दोस्त का फर्ज।