
चेन्नई सुपर किंग्स (CSK): चेन्नई सुपर किंग्स (CSK) की आईपीएल 2025 में उम्मीदों पर 30 अप्रैल की शाम पानी फिर गया। पंजाब किंग्स (PBKS) के खिलाफ ‘करो या मरो’ मुकाबले में हार मिलने से न सिर्फ उनकी प्लेऑफ की उम्मीदें खत्म हो गईं, बल्कि मैदान पर कप्तान एमएस धोनी (MS Dhoni) का चेहरा भी उनकी मायूसी बयां कर रहा था। हार के बाद माही के हाव-भाव बता रहे थे कि सिर्फ मैच ही नहीं हारा, बल्कि पूरी सीजन की कमजोरियां भी सामने आ गईं। मैच के बाद धोनी ने सबसे पहले टीम की फील्डिंग पर सवाल उठाए। उन्होंने साफ कहा, “हमें कैच पकड़ने होंगे, तभी हम सामने वाली टीम पर दबाव बना सकते हैं।” धोनी का इशारा साफ था कि सीजन भर फील्डिंग में जो गलती होती रही, वही आख़िर में भारी पड़ गई। करन और ब्रेविस की साझेदारी को सराहा मैच खत्म होने के बाद धोनी ने ब्रॉडकास्ट पर बातचीत में कहा, “ये पहली बार था जब हमने स्कोरबोर्ड पर अच्छे रन लगाए, लेकिन इतना स्कोर मुकाबले के लिए थोड़ा कम था। बल्लेबाज़ों के लिए पिच चुनौतीभरी थी, फिर भी थोड़ा और रन चाहिए थे। करन और ब्रेविस की साझेदारी वाकई बेहतरीन थी। और हां, हमें कैच पकड़ने की ज़रूरत है।” उन्होंने आगे कहा, “मुझे लगता है कि करन एक सच्चा फाइटर है, हम सब जानते हैं। बदकिस्मती से जब-जब हमने उसे आज़माया, पिच धीमी रही। लेकिन आज की पिच तो इस सीजन में हमारी होम ग्राउंड पर सबसे अच्छी थी। ब्रेविस के पास दम है, वो शानदार फील्डर है, और टीम में एनर्जी लाता है। आने वाले सीजन में वो हमारे लिए अहम खिलाड़ी बन सकता है।”
करन-ब्रेविस की मेहनत बेकार गई सीएसके ने पहले बल्लेबाज़ी करते हुए सैम करन (88 रन) और डिवाल्ड ब्रेविस के साथ 78 रन की साझेदारी के दम पर 190 रन बनाए। लेकिन माही को लगा ये स्कोर काफी नहीं था। उन्होंने कहा, “हमने आखिरी चार गेंदें खेली ही नहीं और 19वें ओवर में चार विकेट गंवा दिए। यही 7 गेंदें टी20 में बहुत फर्क डालती हैं।” चहल की हैट्रिक ने बदल दिया मैच जब लग रहा था कि सीएसके का स्कोर 200 पार जाएगा, तभी युजवेंद्र चहल ने अपना दूसरा आईपीएल हैट्रिक ले लिया और मैच की कहानी पलट दी। यहीं से चेन्नई की पारी धीमी हो गई। अय्यर-प्रभसिमरन ने दिलाई पंजाब को जीत PBKS की ओर से कप्तान श्रेयस अय्यर ने 72 रन की शानदार पारी खेली, और प्रभसिमरन सिंह ने 54 रन बनाकर टीम को तेज़ शुरुआत दी। दोनों ने मिलकर वही किया जो इस सीजन सीएसके की टीम बार-बार करने में चूकती रही—मैच को खत्म करना। अब सिर्फ इज़्ज़त का सवाल बाकी इस हार के साथ चेन्नई की प्लेऑफ की ‘गणित पर टिकी उम्मीदें’ भी खत्म हो गई हैं। अब टीम के पास चार लीग मैच बचे हैं, और ये माही और उनकी टीम के लिए बस इज़्ज़त बचाने का मौका होंगे।



