
बाढ़ के बीच खुला स्कूल: बच्चों की जान से खिलवाड़?-पंजाब में बाढ़ का कहर जारी है, और ऐसे में सरकार ने सभी स्कूलों को 30 अगस्त तक बंद रखने का फरमान सुनाया था। लेकिन, गुरदासपुर के दोरांगला में स्थित जवाहर नवोदय विद्यालय ने इस आदेश को ठेंगा दिखा दिया। सरकारी हुक्म की धज्जियां उड़ाते हुए यह स्कूल खुला रहा, जिससे प्रशासन की बड़ी लापरवाही सामने आई है।
बाढ़ का तांडव, कई जिलों में हाहाकार-पंजाब के पठानकोट, गुरदासपुर, तरनतारन, होशियारपुर, कपूरथला, फिरोजपुर और फाजिल्का जैसे जिले बाढ़ की भयंकर मार झेल रहे हैं। लगातार हो रही बारिश और बांधों से छोड़े गए पानी ने हालात को और भी गंभीर बना दिया है। बच्चों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए ही सरकार ने यह छुट्टी का ऐलान किया था, ताकि कोई अनहोनी न हो सके।
400 छात्र फंसे, जान पर बनी आई-जहां बाकी सभी स्कूल बंद थे, वहीं जवाहर नवोदय विद्यालय में बच्चों की पढ़ाई चल रही थी। अचानक बाढ़ का पानी बढ़ने से करीब 400 छात्र स्कूल परिसर में ही फंस गए। यह बेहद खतरनाक स्थिति थी, जहां एक छोटी सी चूक बच्चों की जान पर भारी पड़ सकती थी। यह सब सरकारी आदेशों की अनदेखी का नतीजा था।
शिक्षा विभाग का कड़ा रुख, प्रिंसिपल से मांगा जवाब-जैसे ही इस लापरवाही की खबर शिक्षा विभाग तक पहुंची, तुरंत कार्रवाई शुरू हो गई। नवोदय विद्यालय के प्रिंसिपल को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है। उनसे पूछा गया है कि सरकारी आदेश के बावजूद स्कूल खोलने की क्या वजह थी। अब सभी की निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि आगे क्या कदम उठाया जाता है।
जिम्मेदारी तय होगी, एक्शन का इंतजार-यह घटना साफ तौर पर दिखाती है कि कैसे छोटी सी लापरवाही भी बच्चों की जिंदगी से खिलवाड़ कर सकती है। प्रिंसिपल से जवाब मांगा गया है और जल्द ही यह तय होगा कि उनके खिलाफ क्या कार्रवाई होगी। उम्मीद है कि इस मामले में जिम्मेदार लोगों को बख्शा नहीं जाएगा और कड़ी कार्रवाई की जाएगी।




