
गरियाबंद के जंगल में सीआरपीएफ का बड़ा एक्शन: नक्सलियों के छिपने की जगह पर धावा, सामान जब्त!
जंगल में चला खास ऑपरेशन, नक्सलियों के होश उड़े!-गरियाबंद जिले के घने जंगलों में सीआरपीएफ की 65वीं बटालियन ने एक ज़बरदस्त ऑपरेशन चलाया। 30 अगस्त को मिली खुफिया जानकारी के आधार पर, एफ/65 और जी/65 कंपनियों की संयुक्त टीम ने भालुडिग्गी वन क्षेत्र में घुसकर नक्सलियों के ठिकानों को खंगाला। इस दौरान, इलाके में गहराई तक सर्चिंग अभियान चलाकर नक्सलियों की हर गतिविधि पर पैनी नज़र रखी गई।
नक्सलियों का छुपाया हुआ खज़ाना बरामद, सब नष्ट!-सर्चिंग के दौरान सीआरपीएफ की टीम को कुल्हड़ीघाट और बिंद्रानवागढ़ के इलाकों में नक्सलियों द्वारा छुपाए गए सामान का बड़ा जखीरा मिला। इस बरामदगी में सिलाई मशीन, कई पिट्ठू बैग, प्लास्टिक के जूते, तिरपाल, ज़रूरी दवाइयाँ और राशन सामग्री शामिल थी। सीआरपीएफ के जवानों ने बड़ी सूझबूझ दिखाते हुए इस सारे सामान को तुरंत जब्त कर लिया और मौके पर ही नष्ट कर दिया।
नक्सली अभी भी सक्रिय, बना रहे हैं सप्लाई चेन!-इस बड़ी बरामदगी से यह बात साफ हो गई है कि नक्सली संगठन अभी भी जंगलों में सक्रिय हैं और अपनी ज़रूरतों को पूरा करने के लिए स्थानीय स्तर पर सामग्री जुटाने की कोशिश कर रहे हैं। इस तरह की चीजें इस बात का संकेत देती हैं कि नक्सली अपनी सप्लाई चेन को किसी भी कीमत पर बनाए रखने के लिए लगातार प्रयासरत हैं।
लगातार ऑपरेशन से नक्सलियों की कमर टूटी!-सीआरपीएफ द्वारा चलाए जा रहे लगातार सर्चिंग और कॉम्बिंग ऑपरेशनों ने नक्सलियों की सप्लाई चेन और उनके छिपने के ठिकानों पर गहरा प्रहार किया है। इन निरंतर दबावों के कारण नक्सली लगातार कमजोर पड़ते जा रहे हैं और उनके संसाधन भी एक-एक करके नष्ट किए जा रहे हैं, जिससे उनकी गतिविधियों पर अंकुश लग रहा है।
शांति और सुरक्षा के लिए जारी रहेंगे अभियान!-सीआरपीएफ की 65वीं बटालियन स्थानीय पुलिस और प्रशासन के साथ मिलकर भविष्य में भी इसी तरह के एरिया डॉमिनेशन, सर्च और कॉम्बिंग ऑपरेशन जारी रखेगी। इन निरंतर और प्रभावी प्रयासों से क्षेत्र में शांति और सुरक्षा का माहौल बनाए रखने में काफी मदद मिलेगी और नक्सलियों की अवैध गतिविधियों पर पूरी तरह से रोक लगाने का मार्ग प्रशस्त होगा।



